पंजाब बना देश का नया औद्योगिक केंद्र, मान सरकार की नीतियों से बनेगा भारत का अगला मैन्युफैक्चरिंग हब

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पंजाब जो सदियों से ‘अन्न भंडार’ के रूप में देश की रीढ़ रहा है, अब मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व में औद्योगिक क्रांति की ओर तेजी से बढ़ रहा है. राज्य में खेती के साथ-साथ उद्योग, तकनीक और सेवाओं को समान रूप से मजबूत बनाने की दिशा में उठाए गए कदम अब परिणाम देने लगे हैं. मान सरकार का लक्ष्य है कि पंजाब को एकमात्र कृषि पर निर्भर राज्य से निकालकर उसे मल्टी-सेक्टर ग्रोथ मॉडल में तब्दील किया जाए. जहां उद्योग, निवेश और रोजगार की नई संभावनाएं एक साथ फलें-फूलें.

पंजाब के आर्थिक इतिहास में यह एक नया अध्याय है. मार्च 2022 से अब तक ₹1.23 लाख करोड़ से अधिक के निवेश प्रस्ताव राज्य को मिले हैं, जो 4.7 लाख से अधिक युवाओं के लिए रोजगार के अवसर लेकर आएंगे. यह आंकड़े केवल निवेश की गवाही नहीं देते, बल्कि यह पंजाब के आत्मनिर्भर भविष्य की कहानी कहते हैं.

 कृषि राज्य से औद्योगिक केंद्र तक का सफर

मान सरकार का उद्देश्य स्पष्ट है — पंजाब को केवल खेती पर आधारित अर्थव्यवस्था से आगे बढ़ाना. अब राज्य निवेश और उत्पादन दोनों में अग्रणी बन रहा है. बरनाला में IOL केमिकल्स का ₹1133 करोड़ का निवेश इसका जीवंत उदाहरण है. इसके साथ ही नेस्ले, कारगिल और डैनोन जैसी अंतरराष्ट्रीय कंपनियां भी पंजाब की औद्योगिक पहचान का हिस्सा बन चुकी हैं.

 आसान व्यापार, मजबूत निवेश माहौल

सरकार ने व्यापार के माहौल को सरल, पारदर्शी और भरोसेमंद बनाया है. सिंगल विंडो सिस्टम और राइट टू बिजनेस एक्ट में संशोधन से अब उद्योगपतियों को मंजूरियां 3 से 18 दिनों के भीतर मिल रही हैं. लालफीताशाही की पुरानी दीवारें टूट रही हैं और निवेशकों का विश्वास लगातार मजबूत हो रहा है.

 उद्योगों का नया दौर

‘पंजाब उद्योग क्रांति’ के तहत 12 नई योजनाएं लागू की गई हैं, जो उद्योगों और सरकार के बीच सामंजस्य को एक नई दिशा दे रही हैं. टेक्सटाइल, ऑटो कंपोनेंट्स, हैंड टूल्स और साइकिल उद्योगों के साथ-साथ राज्य अब टेक्नोलॉजी और सर्विस सेक्टर में भी अपनी पहचान बना रहा है.

फिल्म सिटी और खेल अधोसंरचना से बढ़ेगा पर्यटन

मान सरकार ने पंजाब को मनोरंजन और खेलों का केंद्र बनाने का भी बीड़ा उठाया है. अमृतसर में नया क्रिकेट स्टेडियम और फिल्म सिटी जैसी परियोजनाएं न केवल राज्य की सांस्कृतिक पहचान को मजबूत करेंगी, बल्कि पर्यटन और स्थानीय रोजगार को भी बढ़ावा देंगी.

पंजाब की अर्थव्यवस्था की रीढ़

सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योगों (MSMEs) को नई तकनीक, बुनियादी ढांचे और नीतिगत सहयोग से मजबूत किया जा रहा है. यह प्रयास छोटे उद्यमों को बड़े उद्योगों की श्रृंखला में जोड़कर राज्य की आर्थिक नींव को और मजबूत बना रहा है.

 ग्रीन इंडस्ट्रियल स्टेट बनने की दिशा में पंजाब

मान सरकार का फास्ट ट्रैक पंजाब पोर्टल निवेशकों को त्वरित मंजूरी दिलाने में मदद कर रहा है. यह पहल दिखाती है कि पंजाब अब केवल एक ‘फार्म स्टेट’ नहीं, बल्कि एक ग्रीन इंडस्ट्रियल स्टेट बनने की राह पर है. जहां कृषि और उद्योग के बीच संतुलन स्थापित किया जा रहा है.

यह केवल मैन्युफैक्चरिंग पुनर्जागरण नहीं, आत्मविश्वास का

मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान का मानना है कि यह बदलाव केवल उद्योग या निवेश का नहीं है, बल्कि यह हर पंजाबी के आत्मविश्वास, परिश्रम और स्वाभिमान का पुनर्जन्म है. यह उस मां की मुस्कान है, जिसका बेटा अब विदेश नहीं जाएगा, और उस नौजवान की जीत है, जो अपने ही गांव में रोजगार पाकर अपने परिवार का सहारा बनेगा.

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