Disha Patani House Firing Case: बॉलीवुड एक्ट्रेस दिशा पाटनी के बरेली स्थित घर के बाहर फायरिंग करने वाले दो गैंगस्टर्स को पुलिस ने गाजियाबाद में एनकाउंटर में मार गिराया. दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल, उत्तर प्रदेश एसटीएफ और हरियाणा एसटीएफ की संयुक्त कार्रवाई में बुधवार शाम यह मुठभेड़ हुई.
एनकाउंटर में मारे गए बदमाश रविंदर (रोहतक) और अरुण (सोनीपत) कुख्यात रोहित गोडारा–गोल्डी बराड़ गिरोह से जुड़े थे. दोनों पर पुलिस की नजर उस वक्त पड़ी जब 12 सितंबर को तड़के करीब 3:30 बजे दिशा पाटनी के घर के बाहर बाइक सवार बदमाशों ने गोलियां बरसाईं थीं. घटना की जिम्मेदारी बाद में गोल्डी बराड़ से जुड़े एक सोशल मीडिया अकाउंट ने ली थी.
कैसे पकड़े गए बदमाश?
जांच एजेंसियों ने सीसीटीवी फुटेज के आधार पर रविंदर की पहचान की. यूपी एसटीएफ ने तकनीकी निगरानी और क्राइम डेटाबेस की मदद से उनकी गतिविधियों को ट्रैक किया. जांच में सामने आया कि दोनों आरोपी गाजियाबाद पहुंच चुके हैं. सोमवार को एसीपी धर्मेंद्र सिंह और एसआई मनजीत सिंह की टीम ने उनकी लोकेशन ट्रोनिका सिटी के पास पक्की कर ली.
मुठभेड़ का घटनाक्रम
पुलिस ने बुधवार शाम करीब 7:20 बजे बदमाशों की बाइक को रोका और सरेंडर करने को कहा. लेकिन दोनों ने अचानक फायरिंग शुरू कर दी, जिससे एक पुलिसकर्मी और गाड़ी को गोली लगी. जवाबी कार्रवाई में पुलिस ने दोनों को घायल कर दिया. सीने और गर्दन में गोली लगने से रविंदर और अरुण की मौत हो गई.
हरियाणा एसटीएफ के पुलिस अधीक्षक वसीम अकरम ने आगे कहा, “जब उन्हें ट्रोनिका सिटी के पास एक सड़क पर पकड़ा गया, तो उन्होंने गोलीबारी शुरू कर दी. पुलिस ने जवाबी कार्रवाई की और उन्हें पकड़ लिया. उन्हें पास के अस्पताल ले जाया गया, लेकिन उनकी मौत हो चुकी थी.”
एनकाउंटर में चार पुलिसकर्मी भी घायल हुए. एसीपी प्रमोद सिंह कुशवाह ने बताया,”इस मुठभेड़ में एसआई रोहित के बाएं हाथ में गोली लगी, जबकि एचसी कैलाश के दाहिने हाथ में चोट आई. यूपी एसटीएफ के हेड कांस्टेबल अंकुर और जय भी घायल हुए.”
पुलिस ने मौके से एक चोरी की बाइक, ज़िगाना पिस्टल और ग्लॉक जेन-5 पिस्टल बरामद की.
दिशा पाटनी के घर की रेकी
यूपी एसटीएफ ने खुलासा किया कि बदमाश कई दिनों से दिशा पाटनी के घर की निगरानी कर रहे थे. उनका मकसद एक्ट्रेस और उनके परिवार से रंगदारी वसूलना था. हरियाणा एसटीएफ के एसपी वसीम अख़रम ने कहा, “हमें पुख्ता जानकारी थी कि यह दोनों आरोपी 12 सितंबर की बरेली फायरिंग घटना में शामिल थे.”
बदमाशों का आपराधिक इतिहास
अधिकारियों ने बताया कि रविंदर फतेहाबाद कोर्ट फायरिंग मामले में 2024 से वांछित था. वह भिवानी में 5 सितंबर को हुए गैंगवार में भी शामिल था, जिसमें हमलावरों ने कोर्ट के बाहर लवजीत नाम के एक व्यक्ति पर गोली चलाई थी.