आईसीसी महिला विश्व कप का दूसरा सेमीफाइनल गुरुवार को नवी मुंबई के डॉ. डी.वाई. पाटिल स्टेडियम में खेला जाना है, लेकिन मौसम इस रोमांचक मुकाबले के बीच बड़ी बाधा बन सकता है. भारत और ऑस्ट्रेलिया की टीमें इस महत्वपूर्ण मैच के लिए तैयार हैं, मगर बारिश के पूर्वानुमान ने दोनों खेमों की चिंता बढ़ा दी है.
बारिश बिगाड़ सकती है मुकाबले की लय
भारत में सर्दियों की शुरुआत के साथ मुंबई में देर रात हुई हल्की बारिश ने पहले ही कई मैचों को प्रभावित किया है. भारत के आखिरी ग्रुप-स्टेज मुकाबले में भी बारिश के कारण खेल बाधित हुआ था. अब सेमीफाइनल से पहले भी आसमान में घने बादल छाए हुए हैं और मौसम विभाग ने गुरुवार सुबह से लेकर दोपहर तक हल्की से मध्यम बारिश की संभावना जताई है.
अगर दिनभर बारिश रुक-रुक कर होती रही तो मैच के ओवर घटाए जा सकते हैं या फिर यह रद्द भी हो सकता है. ऐसे में फैंस को निराशा झेलनी पड़ सकती है, क्योंकि यह टूर्नामेंट का सबसे बहुप्रतीक्षित मुकाबला माना जा रहा है.
रिजर्व डे से मिलेगी राहत
आईसीसी ने विश्व कप के नॉकआउट चरणों में बारिश की संभावना को ध्यान में रखते हुए हर मैच के लिए एक रिजर्व डे (Reserve Day) रखा है. अगर गुरुवार (30 अक्टूबर) को खेल पूरा नहीं हो पाता, तो मैच अगले दिन यानी 31 अक्टूबर को खेला जाएगा.
हालांकि, अगर उस दिन भी बारिश के कारण मुकाबला नहीं हो पाता है, तो नियमों के अनुसार ऑस्ट्रेलिया फाइनल में क्वालीफाई करेगा, क्योंकि वह ग्रुप चरण में अंक तालिका में शीर्ष स्थान पर रही थी. इस स्थिति में भारतीय टीम का अभियान वहीं समाप्त हो जाएगा. हरमनप्रीत कौर की कप्तानी वाली भारतीय टीम चाहती है कि मौसम साथ दे ताकि खिलाड़ी मैदान पर अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन कर सकें.
भारतीय टीम की उम्मीदें
बारिश के बावजूद भारत के पास अपने तेज गेंदबाजों के जरिए शुरुआती ओवरों में फायदा उठाने का मौका होगा. रेणुका सिंह ठाकुर और स्नेह राणा जैसी गेंदबाजों को बादलों की मौजूदगी और नमी वाली पिच से स्विंग मिल सकती है. बल्लेबाजों के लिए यह चुनौतीपूर्ण शुरुआत हो सकती है, लेकिन अगर भारत इस परिस्थिति का सही इस्तेमाल कर ले, तो ऑस्ट्रेलिया पर दबाव बनाया जा सकता है.
नवी मुंबई की पिच रिपोर्ट
डी.वाई. पाटिल स्टेडियम की पिच पर आमतौर पर बल्लेबाजी आसान रहती है. यहां का औसत स्कोर लगभग 260 रन के आसपास रहता है. हालांकि, शाम के समय रोशनी में गेंदबाजों को शुरुआती ओवरों में मदद मिलती है, क्योंकि गेंद स्विंग करती है और सीम मूवमेंट देखने को मिलता है.
अगर मौसम में बादल बने रहे तो तेज गेंदबाजों को अतिरिक्त स्विंग मिलेगी, लेकिन अगर आसमान साफ हुआ तो बल्लेबाजों के लिए रन बनाना अपेक्षाकृत आसान रहेगा.
मुकाबले का महत्व
भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच यह सेमीफाइनल सिर्फ एक मैच नहीं, बल्कि फाइनल का टिकट है. दोनों टीमें टूर्नामेंट में शानदार प्रदर्शन कर चुकी हैं. भारत के पास 2017 की ऐतिहासिक जीत को दोहराने का मौका है, जबकि ऑस्ट्रेलिया अपने दबदबे को कायम रखना चाहेगा. अब सबकी निगाहें सिर्फ एक चीज़ पर हैं. मौसम के मिजाज पर. अगर बारिश नहीं हुई, तो क्रिकेट प्रेमियों को एक यादगार मुकाबला देखने को मिलेगा.
















