अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने रूस-यूक्रेन युद्ध को लेकर कड़ा रुख अपनाते हुए साफ कहा है कि अगर रूस युद्ध रोकने पर सहमत नहीं होता, तो उसे सख्त आर्थिक और राजनीतिक कार्रवाइयों का सामना करना पड़ेगा. यह बयान ऐसे समय में आया है जब ट्रंप 15 अगस्त को अलास्का में पुतिन से मुलाकात करने वाले हैं.
वॉशिंगटन के केनेडी सेंटर में एक पत्रकार ने ट्रंप से सवाल किया कि अगर पुतिन युद्ध रोकने पर सहमत नहीं होते तो क्या रूस पर कोई कार्रवाई होगी? इस पर ट्रंप ने सीधा जवाब देते हुए कहा- ‘हां, होगी. और ये परिणाम गंभीर होंगे.’ उन्होंने यह भी जोड़ा कि कार्रवाई में टैरिफ से लेकर कड़े प्रतिबंध तक शामिल हो सकते हैं. हालांकि उन्होंने स्पष्ट रूप से उपायों का खुलासा नहीं किया है.
पुतिन से मुलाकात और त्रिपक्षीय वार्ता का प्रस्ताव
ट्रंप ने बताया कि वे 15 अगस्त को अलास्का में पुतिन से मुलाकात करेंगे और अगर यह बैठक सकारात्मक रहती है तो तुरंत दूसरी बैठक का प्रस्ताव रखेंगे. इस दूसरी वार्ता में यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की को भी शामिल करने की योजना है. ट्रंप ने कहा, “अगर पहली बैठक ठीक रही तो हम तुरंत दूसरी करेंगे. लेकिन अगर मुझे वह जवाब नहीं मिला जिसकी मुझे उम्मीद है, तो दूसरी बैठक नहीं होगी.”
यूरोपीय नेताओं के साथ वर्चुअल बैठक
हाल ही में यूरोपीय नेताओं के साथ हुई वर्चुअल बैठक में फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने कहा कि ट्रंप रूस-यूक्रेन के बीच युद्धविराम को प्राथमिकता दे रहे हैं. इस दौरान जेलेंस्की ने पुतिन पर आरोप लगाया कि वह “झूठी धमकियां” दे रहे हैं और यूक्रेन के सभी मोर्चों पर दबाव बना रहे हैं ताकि यह दिखाया जा सके कि रूस पूरे यूक्रेन पर कब्जा करने में सक्षम है.
अलास्का में ऐतिहासिक स्थल पर मुलाकात
जानकारी के अनुसार यह मुलाकात अलास्का के ज्वाइंट बेस एलमेंडॉर्फ-रिचर्डसन में होगी, जो शीत युद्ध के समय अमेरिका और सोवियत संघ के बीच एक अहम सैन्य ठिकाना था. व्हाइट हाउस के एक अधिकारी ने नाम न जाहिर करने की शर्त पर बताया कि यह स्थान ऐतिहासिक महत्व रखता है और बैठक के लिए रणनीतिक रूप से चुना गया है.